Saturday, August 27, 2016

ये समाज की अर्थी थी या देश की ?

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           ' आजादी '  ?
है प्रीत जहाँ की रीत सदा मै बात वही झुठलाता हूँ,
भारत का रहने वाला हूँ ' पत्नी ' लाश उठाता हूँ !
हो...हो...हो !..होहोहो ?
पहले गोरे थे चोर यहाँ,अब काले संसद बेच रहे,
किसको कहते है आजादी मन में मेरे ये पेच रहे !
कैसे जीता है 'दाना मांझी ' ये सच तुमको दिखलाता हूँ,
भारत का रहने वाला हूँ पत्नी की लाश उठाता हूँ !
हो...हो...हो ! होहोहो ?
जनता इतनी गूंगी -बहरी, जैसे नदियाँ हो ठहरी,
सब उजड़े से वीरान लगे,गाँव-गली,बाशिंदे शहरी !
इस मिटटी में क्यों जनम लिया,किसका कर्ज चुकाता हूँ ?
भारत का रहने वाला हूँ पत्नी की लाश उठाता हूँ !
हो...हो..हो..होहोहो ?
इस देश का सिस्टम ऐसा है,सब कुछ यहाँ पे पैसा है,
न्याय मांगना अदालत में,अमृत पीने जैसा है !
पत्नी तो मर गई मेरी अब बेटी की लाज बचाता हूँ,
भारत का रहने वाला हूँ ,भारत की बात सुनाता हूँ !
हो..हो..हो..होहोहो ??
न पेट में उसके रोटी थी,न बिस्तर में आराम दिया,
मतदाता होकर ऐसा मैंने कौन सा था गुनाह किया ?
लो ' लाल सलाम ' कहते हुए हर सपने को जलाता हूँ,
भारत का रहने वाला हूँ पत्नी की लाश उठाता हूँ !!
हो..हो..हो..होहोहो ?
#दानामांझी #पीएममोदी



इतना कहकर संवाद लिखने वाला ये भी लिखता है इस लोकतंत्र की व्यथा पर -
                               
             ' भारत की अर्थी ' 
कलम तोड़ने वाले अक्सर किरदार यहाँ बिक जाते है , 
खबर के अगले दिन रद्दी में अख़बार यहाँ बिक जाते है !
ब्यूरोक्रेसी की क्या बात करे अब तमाशबीन है जनता भी,
सच कहता है तू ' मांझी ' संस्कार यहाँ बिक जाते है !
संसद बेचीं,सत्ता बेचीं और भगवान तलक को बेच दिया,
अवसर पड़ने पर 'सागर' घर - बार यहाँ बिक जाते है !
तेरी पत्नी चली गई अब बेटी को क्या विदा करेगा ?
मुफलिस की बस्ती में रोजाना सरोकार यहाँ बिक जाते है ! 
( कालाहांडी के दाना मांझी को सपर्पित ) 

- आशीष सागर,प्रवासनामा डेस्क 

बुंदेलखंड के बालू माफिया कमली हुए जाते है !

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' सबकी जूठन हम खायेंगे, 
रामराज्य भी हम लायेंगे ! '

http://www.indianvoice24.com/880-2/
किसानों की जमीन,रस्ते,पानी लूटनेवाले ये बालू माफिया राष्ट्रवादी लोकसेवक बन जाने को आतुर है ! राजनीतिक कोठा भी कमल चुना है सबकी जूठन को भाजपा ने स्वीकार किया ! किसान समझेगा क्या ?
राजनीतिक कोठे में थिरकने वाले जिस नेता को कही जगह न मिले वो कमली हो सकता है ! बानगी के लिए बाँदा - हमीरपुर / बुंदेलखंड में मंजे हुए बालू माफिया,अराजक,उचक्के चुनाव की आहट से राष्ट्रवादी हो रहे है !
सपा का बालू सिंडिकेट चलाने वाले बाँदा रहवासी रामकरन सिंह बच्चन कमली हुए ! इसके पूर्व युवराज सिंह,सपा पूर्व एमएलसी / खनन व्यापारी ),प्रकाश चन्द्र दिवेदी ( सपा टिकट पर जिला पंचायत अध्यक्ष का टिकट मिला था दबाव में बैठ गए ,दल बदलने में महारथी महेंद्र सिंह वर्मा ( पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष ) सहित छुटभैय्ये भी तिरंगा लिए ' धूम यात्रा ' निकाले है हाल ही में !!



सबको नैतिकता का गरुणपुराण सुनाने वाले जब गिद्ध रस पीने लगे तब आप समझ सकते है कि आने वाले लोकसेवक कितने पाकीजा होंगे !
जिनके पास कोई सामाजिक मुद्दा नही वो रुतबे,गाडी,रुपया से ' माननीय' बन जाने के सपने सजा चुके है !
जनता शायद इनसे ये पूछे कि तुम्हारा सियासी लक्ष्य,मुद्दा और लोकसेवक बनकर तंत्र के लिए संकल्प क्या है ? बालू खनन की सीबीआई जाँच से बचते हुए ये नेता आजकल जनसेवक हो गए है ! समाजवादी मुख्यमंत्री ने हाई कोर्ट में जाँच रोकने को याचिका दाखिल कर रखी है फैसला सितम्बर में आएगा ! सीबीआई बिना जानकारी दिए विचरण कर रही है !
( तस्वीर एनएच 76 बाँदा- चिल्ला मार्ग )

Thursday, August 25, 2016

बारह किलोमीटर तक मृत पत्नी की लाश लिए चलता रहा मांझी !

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एक दसरथ मांझी ने पहाड़ तोडा था ये 
मांझी पत्नी की लाश ढो रहा है मगर ज़िम्मेदार कौन है ?
https://www.youtube.com/watch?v=s7vsqHQ84gQ
निजामो की चमड़ी जब बेशर्म होकर मोटी हो जाती है, स्थानीय आवाम जब नपुंसक हो तमाशाई बनते हुए ! तब उड़ीसा के कालाहांडी इलाके में एक आदिवासी को अपनी पत्नी की लाश 12 किलोमीटर बेटी के रुदन के साथ विकास की सैया पर निकालनी पड़ती है ! प्रवचन से विकास अगर होता है तो निश्चित यह भारत ही हो सकता है ! सरकारी व्यवस्था से बेदम हुए इस आदमी को अब लाल सलाम कहने का पूरा क़ानूनी अधिकार मिलना चाहिए ! मीडिया ने कितनी शिद्दत से ये वीडियो बनाया है जबकि इससे पहले पीड़ित की मदद की जा सकती थी ! खबर के लिए सब कुछ दांव पर है ! #आजादभारतमेंविकास
                                               

दाना -पानी की कार्यशाला में पहुंचा ' बीजुका ' नकटा !

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परिंदों की उड़ान हरियाली से होती है,जरा सोचो की ये खेत,नदी, पगडण्डी क्यों रोती !

बाँदा - रात्रि में किसान के खेतों की जंगली जीव से प्रतीकात्मक रखवाली करने वाला ' बीजुका ' नकटा बीते दिवस #दानापानी के सामाजिक कार्यक्रम में दिखलाई दिया ! बहुत सुन्दरता से बनाया गया था ! ये साथी हम सभी किताबी पढ़े - लिखे लोगो को घंटो सुनता रहा ! विकास की अट्टालिकाओं में इसके लिए दफन हुए पन्ने और स्मृति इसको कैसे कचोटती होगी यह भी बयान न कर सका ! आखिर अब किसान के खेतों में विचरण करने वाली ' ची-ची - गौरैया ' से लेकर तमाम अन्य परिंदे,वन जीव आदमी नाम के खतरनाक और वीभत्स हाड़ - मांस की देह वाले बीजुका से डरकर विलुप्त जो हो रहे है ! उनके लिए बड़ी - बड़ी कार्यशाला में देखों न बुद्धजीवी उनका चिंतन- मंथन कर रहे हाय कैसे बचेंगे ये ' बीजुका- नकटा और आसमानी परिंदे ' !     


यथा वाईल्ड लाइफ के लोग जब एसी में बैठकर 'शेर ' के संरक्षण की बात करते है तब मुझे उनके बनाये राष्ट्रीय अभ्यारण्य सर्कस के उस पिंजरे जैसे लगते है जहाँ ' शेर ' / अन्य वन्य जीव जोकर बनकर आदम के लिए मनोरंजन का साधन मात्र रह जाता है ! लेकिन ये यह नही जानते कि टाइगर रिजर्व - पन्ना टाइगर रिजर्व,पन्ना  #केनबेतवानदीगठजोड़ को बड़े बांधो से उजाड़कर ये न तो लायन सफारी बचा पाएंगे और न शेरों - गिद्ध के साथ ऐसे ही खेतिहर बीजुका - नकटा को !! कंक्रीट के विकास से ही तो हम सबका अस्तित्व मिटना है न !! जंगल को उसके हाल पर छोड़ दो साहेब पिकनिक स्पाट बनाकर सिर्फ अपना मौलिक पतन ही करोगे ! सुन रही है न उमा भारती जी !

प्रवासनामा डेस्क टीम संयोजक को मिला ' श्री कंचन एरन स्मृति सम्मान 2016 '

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24.08.2016 -
Me winner of Kanchan Aron memory Award 2016. For an Outstanding contributaion in awareness creation for the casue water and other environment issues,on the occasion of ' DANA-PANI' .with Padam shri Forest man Jadav Molai Payeng.me undertook with other volunteers a 'jal yatra' (Taalab Avam Bhudan Charagah Mukti Abhiyan) from Banda to Lucknow covering whole of UP Bundelkhand region.(the most arid Water Crisis districts). Her insights into the lives people are quite formidable. Hers was a discovery journey. She narrated it to us with lot of feelings yesterday at the Dana Pani event.#SaveSparrows #गौरैयाकाब्याहबाँदा are a family of small passerine birds.
23 अगस्त को राजधानी लखनऊ के एनारएलसी ट्रेनिग सेंटर सभागर में डायरेक्ट आफ एनवायरमेंट यूपी / स्वयं सिद्धा के सौजन्य से आयोजित'दाना-पानी'( गौरैया संरक्षण अभियान )व्याख्यान में देश के वन पुरुष पद्म श्री जादव मुलाई पायेंग आसाम,डाक्टर बीवी खरबड़े( प्रधान निदेशक एनारएलसी)पूर्व डीजीपी विक्रम सिंह (कुलपति नोयडा इंटरनेशनल युनिवर्सिटी),श्री वी.एन.गर्ग( पूर्व सचिव कृषि उत्पाद एवं वन - पर्यावरण),प्रोफ़ेसर वीके जोशी ( भूगर्भ वैज्ञानिक/ जीआईएस )सीनियर जर्नलिस्ट जीतू कालिता ( आसाम),श्री अगस्टीन वैलथ (संचार विशेषज्ञ यूनिसेफ),आसिमा सिंह (पूर्व डीआरएम रेलवे,लखनऊ) एवं स्वयं सिद्धा की फाउंडर डाक्टर शिखा त्रिपाठी,दाना पानी अभियान प्रोग्राम मैनेजर गौरव मिश्रा आदि की उपस्थिति में सम्पन्न हुआ ! 
 





असाधारण व्यक्तित्व वनपुरुष जादव मुलाई पायेंग के हाथो अनुज को ' श्री कंचन एरन स्मृति सम्मान 2016#कंचनएरनसम्मान प्रदान किया गया है ! यह सम्मान बाँदा वासियों सहित आप सबको समर्पित है.बतलाते चले कि श्री कंचन एरन हिंदुस्तान टाइम्स में सीनियर पत्रकार थे और पर्यावरण को लेकर उनका समर्पण आसाधरण रहा है उनकी स्मृति में यह सम्मान दिया जाता है.वही स्वयं सिद्धा की डाक्टर शिखा त्रिपाठी अपने स्नेहिल पिता श्री एसएन त्रिपाठी (पूर्व जल एवं भूगर्भ वेत्ता)को समर्पित यह सामाजिक कार्यक्रम वर्ष 2008 से करती आ रही है ! बकौल शिखा घर में बुजुर्ग और परिंदे उतने ही आवश्यक है जितनी जीवन में खुशियाँ !



शिखा त्रिपाठी एवं उनके भाई सहित माता जी कभी बुंदेलखंड के ललितपुर जिले में रहे तब उनके संरक्षक पिता वहां तैनात थे ! आज भी तालबेहट से लगे सहरिया आदिवासी उनके जेहन में जिंदा है ! बुंदेलखंड के अवैध खनन की कहानी सुनकर उन सहित सभी गणमान्य व्यथित हुए ! #आजादभारतमेंविकास#लालकालेसोनेकीलूट जादव पायेंग के वक्तय को सुनकर सहज आप ये अनुभूत करेंगे कि यह साधारण इंसान आसाम के जंगलों का ' हरित पुत्र ' है.वो क्षण विस्मृत नही होंगे जब मैंने अपना अंग वस्त्र साल वनपुरुष को भेंट किया और उनका आशीष मिला !#पेड़नहींपहलेमुझेकाटोफारेस्टसंस्मरणआसाम प्रकृति सम्यक इस व्याख्यान में अधिकतर वस्तुए मिटटी की रही !          

Sunday, August 21, 2016

बारिश के पानी में बुंदेलखंड पैकेज की नहर बह गई !

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बुंदेलखंड विशेष पैकेज से बनी ये नहर जमीदोज हुई !
'चेकडेम खाए,पुलिया खाई अब नहरें भी खाते है,
हम एमपी के नेता है हरगिज नही लजाते है ' ! 

नरेंद्र अरजरिया लिखते है 'विधायक और सांसद कब तक होने दोगे भ्रस्टाचार ? ' कमीसन में क्यों छल रहे हो ! भोली भाली जनता को क्यों ठग रहे हो ? मध्यप्रदेश के जिले टीकमगढ़ मे बुन्देलखण्ड पैकेज के तहत जामनी नदी के गांव हरपुरा से लेकर मडिया तक नहर का निर्माण किया जा रहा है । 45.8 किलोमीटर लम्बी इस नहर के लिये 37.95 करोड रु का बजट स्वीकृत किया गया है। वर्ष 2011-12 से शुरू हुआ निर्माण का कार्य जिसे 15 जून 16 को पूरा करना था। लेकिन घटिया निर्माण के चलते पहली ही बारिश में बोरी, शिवराजपुर,पडवार के पास नहर टूट कर बह गई है। 
  

वही नहर पर बने पुल भी पहली बारिश नही झेल पाये है और कई जगह से दरारें खा गये है। नहर के अन्दर कच्ची बालू भर दी गई ! नहर टूटने से किनारे लगी किसानों की सैकडों ऐकडों की फसलें मिटटी तले दबने से बर्बाद हो गई है। आखिर सारथी कंस्ट्रक्शन को अभी तक ब्लैक लिस्टेड क्यों नही किया गया । समय टीवी न्यूज़ पर लाइव चली ये स्टोरी बुंदेलखंड के सूरतेहाल बयान करते है ! बात वही की जो मैंने सुबह लिखी थी आजादी के सत्तर बरस बाद हमने चुप रहना सीखा और लोकसेवक ने खुलकर लूटना ! काश कभी इन कृत्यों पर देश के किसान चैनल,संघ समर्थित न्यूज़ चैनल डीबेट करे और काश पीएम इस पर ' मन की बात ' करे !! बारिश ने मध्यप्रदेश के विकास का लंगोट खोल दिया,देखिये इससे पानी रिस रहा है बदबूदार !!
तस्वीर साभार-
@ Narendra Arjariya